Sunday, 21 May 2023

पार्टी में शामिल माफियाओं से नाराज होकर भाजपा का एक धड़ा टूटा! सपा में हुआ शामिल

रीवा। भाजपा आज अपने पथ से भटक चुकी है। देश के पूर्व प्रधानमंत्री स्व. अटल बिहारी बाजपेयी, डॉ. राम मनोहर लोहिया के सिद्धांतो से भटक चुकी है। भाजपा में अब माफियाओं और दलबदलुओं को स्थान दिया जाता है। यह पीड़ा कोई और नहीं 37 साल तक स्व. अटल बिहारी बाजपेयी के सिद्धांतो पर चलने वाले कर्मठ नेता नागेंद्र सिंह कल्चुरी की है। जिन्होंने भाजपा में चल रही गंदगी को देख ग्लानि से भर गये और सपा का दामन थाम लिया। बताते चले कि नागेंद्र सिंह कल्चुरी झुग्गी झोपड़ी प्रकोष्ठ के वही नेता है जो हाल ही में गरीबों की जमीन पर राजस्व विभाग से सांठगांठ कर अतिक्रमण करने वाले भू माफिया सोनू मुस्लिम के विरोध में अनशन पर बैठे थे। जो पूर्व मंत्री एंव रीवा विधायक राजेंद्र शुक्ला का दामन थाम कर अल्प संख्यक मोर्चा के प्रदेश मंत्री के ओहदेदार हो गये। नागेंद्र सिंह कल्चुरी ने प्रेसनोट जारी करते हुये बताया कि खैरा नईबस्ती स्थित गरीब बचाओ संघर्ष मोर्चा कार्यालय में अपने सैकड़ों साथियों के साथ समाजवादी पार्टी के जिलाध्यक्ष कमलेंद्र पांडेय के हाथों सदस्यता ले ली। उन्होंने कहा कि वर्तमान में भाजपा भू माफियाओं, शराब माफियाओं एवं दूसरे दल से आये लोगों को बोलबाला है। भाजपा अपने पुराने कार्यकर्ताओं को नेपथ्य में डाल दिया है। ऐसे में भाजपा में हमारे जैसे सिद्धांतवादी कार्यकर्ता रहने में अपने को असमर्थ महसूस कर रहे है। 

Also Readगंगेव में भीषण सड़क हादसे में कार सवार दंपति की पुत्र सहित मौत, प्रयागराज से जा रहे थे अनूपपुर

ये बताई वजह 

नागेंद्र सिंह कल्चुरी ने कहा कि हम स्व. अटल बिहारी बाजपेयी एंव डॉ. राम मनोहर लोहिया के सिद्धांतो से प्रभावित होकर 1985 में भाजपा से जुड़ कर 35 सालों से पार्टी के लिए कार्य किया। सन 2006 तक को ठीक रहा मुझे गरीबों के हक के लिए लड़ाई लड़ते हुये देख पार्टी द्वारा वार्ड क्रमांक 24 से स्थानीय समिति अध्यक्ष का दायित्व सौंपते हुये झुग्गी झोपड़ी प्रकोष्ठ का जिलाध्यक्ष, कोषाध्यक्ष बनाया गया। 16 वर्ष तक वह झुग्गी झोपड़ी प्रकोष्ठ के जिला संयोजक रहे। यह उन दिनों का समय है जब कमलेश्वर सिंह भाजपा के जिलाध्यक्ष हुआ करते थे और पार्टी स्व. अटल बिहारी बाजपेयी एंव डॉ. राम मनोहर लोहिया के सिद्धांतो पर चलती थी। आज पार्टी अपने सिद्धांतो से भटक गई है। जिसकी वजह से वह भाजपा से तौबा कर सपा से हाथ मिला लिया। उन्होंने कहा कि मेरे साथ आधा सैकड़ा से ज्यादा दलित आदिवासियों ने समाजवादी पार्टी को अपना लिया है। 

No comments:

Post a Comment