मऊगंज : मऊगंज में रविवार सुबह टीबी मरीज अशोक सिंह की मौत हो गई। परिजनों ने स्वास्थ्य विभाग और अस्पताल प्रशासन पर गंभीर लापरवाही का आरोप लगाया है।
परिजनों के अनुसार, शनिवार सुबह अशोक की हालत बिगड़ने पर 108 एंबुलेंस सेवा को कॉल किया गया, लेकिन दो घंटे बाद जवाब मिला कि एंबुलेंस आने में और दो घंटे लगेंगे। बारिश के बीच ग्रामीणों ने बुजुर्ग को पन्नी ओढ़ाकर खटिया पर लिटाया और कीचड़ भरी पगडंडियों से सड़क तक पहुंचाया। स्थानीय युवक मनीष मिश्रा ने अपने निजी वाहन से उन्हें मऊगंज अस्पताल पहुंचाया।
डॉक्टर पर गंभीर आरोप: परिजनों ने बताया कि अस्पताल में डॉक्टर पंकज पांडे ने मरीज की पर्ची देखते ही फेंक दी और कहा कि टीबी का केस है, हनुमना जाना होगा। उन्होंने अस्पताल में रात रुकने की अनुमति देने से भी इनकार कर दिया। परिजनों का आरोप है कि डॉक्टर ने मरीज को देखे बिना, न प्राथमिक उपचार दिया, न भर्ती किया, और न ही रेफर किया।
बीएमओ ने दिए जांच के आदेश: बीएमओ डॉ. प्रद्युम्न शुक्ला ने बताया कि अशोक सिंह हनुमना ब्लॉक के निवासी थे और उनकी हालत गंभीर थी। उन्हें भर्ती या रेफर किया जाना चाहिए था। मामले की जांच के आदेश दिए गए हैं। उन्होंने यह भी कहा कि 108 एंबुलेंस सेवा भोपाल से संचालित होती है, जिसके कारण स्थानीय स्तर पर हस्तक्षेप संभव नहीं है।
डॉक्टर पर गंभीर आरोप: परिजनों ने बताया कि अस्पताल में डॉक्टर पंकज पांडे ने मरीज की पर्ची देखते ही फेंक दी और कहा कि टीबी का केस है, हनुमना जाना होगा। उन्होंने अस्पताल में रात रुकने की अनुमति देने से भी इनकार कर दिया। परिजनों का आरोप है कि डॉक्टर ने मरीज को देखे बिना, न प्राथमिक उपचार दिया, न भर्ती किया, और न ही रेफर किया।
बीएमओ ने दिए जांच के आदेश: बीएमओ डॉ. प्रद्युम्न शुक्ला ने बताया कि अशोक सिंह हनुमना ब्लॉक के निवासी थे और उनकी हालत गंभीर थी। उन्हें भर्ती या रेफर किया जाना चाहिए था। मामले की जांच के आदेश दिए गए हैं। उन्होंने यह भी कहा कि 108 एंबुलेंस सेवा भोपाल से संचालित होती है, जिसके कारण स्थानीय स्तर पर हस्तक्षेप संभव नहीं है।
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