सतना की सामाजिक संस्था 'उपकार हम हैं' की 7 बेटियों ने अपनी मेहनत और लगन से पढ़ाई पूरी कर नौकरी हासिल की है। सोनिया जॉली के नेतृत्व में संचालित इस संस्था ने दस साल पहले आर्थिक रूप से कमजोर परिवारों की बेटियों को शिक्षित कर उन्हें सशक्त बनाने का बीड़ा उठाया था। शुरूआत मात्र चार बेटियों से हुई थी, लेकिन आज 150 से अधिक बेटियां इस संस्था के माध्यम से शिक्षा प्राप्त कर रही हैं।
इनमें कंचन वर्मा (बिड़ला स्टोर में अकाउंटेंट), खुशी रावत (अकाउंटेंट), मुस्कान बेगम (अकाउंटेंट), निशा चौधरी (बिलिंग), सेजल शर्मा (कैशियर), शिवानी चौधरी और आकांक्षी साकेत (वर्कशॉप में ट्रेनर) ने नौकरी हासिल कर अपनी प्रतिभा का परचम लहराया है। ये सभी बेटियां आर्थिक रूप से कमजोर परिवारों से हैं, और उनकी यह उपलब्धि समाज के लिए प्रेरणा का स्रोत है।संस्था ने भारत सरकार की 'बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ' और 'बेटी है तो कल है' योजनाओं को सार्थक करते हुए पहले भी एक दर्जन से अधिक बेटियों को सरकारी संस्थानों में नौकरी दिलाई है। संस्था की डायरेक्टर सोनिया जॉली ने इस सफलता का श्रेय बेटियों की मेहनत और संस्था की महिला कार्यकर्ताओं को दिया है। यह उपलब्धि महिला सशक्तिकरण और शिक्षा के क्षेत्र में एक सशक्त उदाहरण प्रस्तुत करती है।
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