पुलिस के सामने व्हाट्सएप कॉलिंग ने खोल दी 30 लाख रूपये के लूट की कहानी

Monday, 26 June 2023

/ by BM Dwivedi

रीवा. रविवार की सुबह एसपी सहित जिले की पुलिस के उस वक्त होश उड़ गये जब खबर लगी कि रीवा प्रयागराज मार्ग में 30 लाख रूपये की लूट हो गई। लुटेरों ने वारदात को अंजाम मनगवां थाना क्षेत्र के गंगेव पुलिस चौकी अंर्तगत सूने मार्ग में दिया। एसपी को आश्चर्य तो तब हुआ जब जानकारी मिली कि पल्सर सवार दो युवकों ने इनोवा कार में सवार सर्राफा व्यापारी से लूट की और कोई छीना-झपटी नहीं हुई। घटना की जानकारी लगते ही एसपी ने लूट का पता लगाने और लुटेरों की धर पकड़ करने के लिए शहर ही नहीं ग्रामीण अंचल की पुलिस टीम को लगा दी। सायबर सेल में बैठे उप निरीक्षक शैल यादव एवं नईगढ़ी थाना प्रभारी जगदीश सिंह ठाकुर ने संदेही वाहन चालक के मोबाइल को जैसे ही खंगाला तो मोबाइल में पड़े वाटसअप कालिंग ने लूट का खुलासा कर दिया। खुलासा होते ही शहर के थानों की पुलिस टीम लुटेरों की खोज में निकल पड़ी। और सायबर की मदद से लूट को अंजाम देने वाले दोनो आरोपी पकड़ लिये गये। एसपी ने खुलासा करते हुये बताया कि लूट के आरोप में सर्राफा व्यापारी के मुनीम का वाहन चालक राजकुमार साकेत पिता रामप्रसाद साकेत 27 वर्ष एवं उसके छोटे भाई संजय उर्फ सूरज साकेत पिता रामप्रसाद साकेत 21 वर्ष दोनो निवासी ग्राम टिकुरी थाना विवि तथा वाहन चालक के मौसी के लड़के आरोपी राहुल साकेत पिता राजू साकेत 24 वर्ष निवासी नगरिया सिटी कोतवाली को गिरफ्तार किया गया है। एसपी ने बताया कि आरोपियों से लूट के 30 लाख रूपये बरामद कर लिये गये हैं। आरोपियों ने खन्ना चौराहा स्थित व्यापारी नवीन सोनी के मुनीम बिहारी लाल सोनी पिता भैयालाल सोनी 50 वर्ष निवासी कटरा तलैया छोटी दरगाह के सामने को प्रयागराज यूपी जाते समय रास्ते में रोक कर उससे 30 लाख रूपये लूट लिये थे। मुनीम अपने सेठ की बहन को पैसे पहुंचाने प्रयागराज यूपी जा रहा था। 

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सीसीटीवी फुटेज ने संदेह को किया पुख्ता

लूट की शिकायत आते ही पुलिस को फरियादी के चालक राजकुमार साकेत पर संदेह हो गया था। राजकुमार साकेत को मनगवां पुलिस अपने हिरासत में ले रखी थी। पूछतांछ में वह पुलिस को चकमा देता रहा। संदेह के आधार पर सीसीटीवी फुटेज के एक्पर्ट माने वाले जाने योगेश सिंह परिहार की पुलिस ने मदद ली। योगेश सिंह परिहार ने जोगिनिहाई नाके में लगे कैमरे में इनोवा कार के पीछे लगी पल्सर बाइक देखी, जिसमें संदेही राजकुमार साकेत का भाई संजय साकेत और उसके मौसी का लड़का राहुल सवार था। बस क्या था पुलिस ने संदेही इनोवा वाहन चालक राजकुमार से पुलिसिया अंदाज में सवाल किया तो वह फरार आरोपियों के मोबाइल नंबर पुलिस को दे दिये। जिसके आधार पर पुलिस टीम ने आरोपियों को धर दबोचा।

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शहर में लूट को देना था अंजाम, देर हो जाने पर चुना ग्रामीण अंचल

मुनीम के वाहन चालक आरोपी राजकुमार साकेत ने बताया कि लूट की योजना शनिवार की रात ही बन गई थी। लूट को अंजाम शहर के अंदर ही देना था। लेकिन उसके मौसी का लड़का राहुल समय से नहीं पहुंचा। और वह मुनीम को लेकर शहर से निकल गया। राहुल के आने पर संजय उसकी पल्सर बाइक से पीछा कर दिया। चूंकि वह कार को धीमी गति से चलाता रहा जिसकी वजह से दोनो करीब पहुंच गये थे। गंगेव ओव्हर ब्रिज के सामने भाईयों ने इनोवा कार के सामने अपनी पल्सर बाइक लगा दी। इनोवा रूकते ही भाईयों ने दिखावटी दो-चार थप्पड़ उसे मारे और मुनीम के साथ मारपीट कर रूपयों से भरा बैग छीनकर भाग निकले।

मनगवां थाना प्रभारी के रूप में एसपी ने था नवाजा

30 लाख रूपये की लूट मनगवां थाना क्षेत्र में हुई। लेकिन लुटेरों को पकडऩे के लिए जिले भर की पुलिस टीम लग गई। गनीमत रही कि चंद घंटो में लूट का खुलासा हो गया। लेकिन मनगवां पुलिस की एक लारवाही निकल कर सामने आ ही गई। लुटेरों ने लूट के रूपये विवि थाना क्षेत्र के ग्राम इटौरा में रह रही अपनी बहन के घर में छुपा कर रखी थी। कानून कहता है कि अपराधियों को शरण देने या संरक्षण देने वाला भी आरोपी है। सवाल यह उठता है कि मनगवां पुलिस ने जहां से लूट के रूपये बरामद किये उनको आरोपी क्यों नहीं बनाया? बताते चले कि मनगवां थाना में पदस्थ टीआई एक समय में गढ़ थाना के प्रभारी हुआ करते थे। लेकिन लापरवाही के चलते तत्कालीन एसपी नवनीत भसीन ने उनसे गढ़ का प्रभार छीन कर पुलिस लाइन में बैठा दिया था। लेकिन एसपी आते ही पुलिस लाइन में पड़े निरीक्षक को उठा कर मनगवां जैसे संवेदनशील थाने की कमान सौंप दी।  


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